जर्मनी में खत्म हुआ मर्केल युग, ओलाफ स्कोल्ज बने देश के नए चांसलर

जर्मनी में खत्म हुआ मर्केल युग, ओलाफ स्कोल्ज बने देश के नए चांसलर

जर्मनी में खत्म हुआ मर्केल युग

जर्मनी में खत्म हुआ मर्केल युग, ओलाफ स्कोल्ज बने देश के नए चांसलर

नई दिल्‍ली। जर्मनी में 16 वर्ष के बाद एंजेला मर्केल का युग खत्‍म हो गया है। अब जर्मनी के नए चांसलर के तौर पर ओलाफ शाल्‍त्‍स देश का नेतृत्‍व कर रहे हैं। बता दें कि मर्केल ने जर्मनी का उस वक्‍त नेतृत्‍व किया था जब 2005 में तत्‍कालीन चांसलर हेलमेट कोल पर कई तरह के संगीन आरोप लगे थे। उस वक्‍त हेलमेट कोल ने ही एंजेला मर्केल के हाथों में देश की कमान सौंपी थी। 

मर्केल को राजनीति में नई पहचान देने के पीछे भी हेलमेट कोल का ही हाथ रहा था। अपनी सरकार में उन्‍होंने ही सबसे पहले मर्केल को सबसे युवा मंत्री के रूप में शामिल किया था। इसके बाद वो लगातार राजनीति की सीढि़या चढ़ती चली गईं। जब हेलमेट कोल आरोपोंं में घिरे तब उनकी पार्टी क्रिश्चियन डेमोक्रेटिक यूनियन (सीडीयू) की नेता के तौर पर मर्केल को ही चुना था। मर्केल ने न सिर्फ जर्मनी को बुरे दौर से उबारा बल्कि वैश्विक मंच पर अपनी एक नई पहचान बनाई। 

अपने कार्यकाल में उन्‍होंने शरणार्थियों के लिए दरवाजे खोले। आपको बता दें कि सीरिया समेत दुनिया भर से आए शरणार्थियों को सबसे अधिक संख्‍या में जर्मनी ने ही शरण दी। ईरान के साथ न्‍यूक्लियर डील की बात हो या फिर क्‍लाइमेट चेंज को लेकर उठाए गए कदमों की या फिर दूसरे वैश्विक मुद्दों की, सभी में मर्केल ने अपनी भूमिका और अपनी अहमियत को साबित किया। जिस वक्‍त पूर्व राष्‍ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप ने ईरान से हुई परमाणु डील से पीछे हटने का एलान किया था उस वक्‍त मर्केल ही वो शख्‍स थीं जिसने ट्रंप को ऐसा न करने की सलाह दी थी। हालांकि ट्रंप ने उनकी बातों को नहीं माना और डील से खुद को अलग कर लिया था। 

मर्केल के कार्यकाल के 16 वर्ष बेहद शानदार रहे और इस दौरान जर्मनी ने काफी तरक्‍की भी की। आपको बता दें कि जर्मनी यूरोप की सबसे बड़ी अर्थव्‍यवस्‍था है। इस लिहाज से भी जर्मनी और उसके चांसलर का राजनीतिक कद काफी बड़ा होता है। एंजेला ने पहले ही ये एलान कर दिया था कि अब ये उनकी आखिरी राजनीतिक पारी है। 67 बसंत देख चुकी मर्केल के बच्‍चे नहीं हैं और उन्‍हें घूमने का बड़ा शौक है। 

अब चांसलर ओलाफ शाल्त्स ने उनकी जिम्‍मेदारी संभाल ली है। शाल्‍त्‍स इससे पहले देश के वित्त मंत्री थे। वो देश के नौवें और एसडीपी पार्टी के चौथे चांसलर हैं। इसके अलावा शाल्‍त्‍स हैम्बर्ग के महापौर भी रह चुके हैं। उनकी सरकार में दूसरा सबसे बड़ा कद राबर्ट हाबेक का है, जिन्‍हें डिप्‍टी चांसलर बनाया गया है। इसके अलावा उनको अर्थव्यवस्था और जलवायु संरक्षण मंत्री की भी जिम्‍मेदारी दी गई है। इनके अलावा क्रिस्टियान लिंडनर को 

वित्त मंत्री, अनालेना बेयरबाक को विदेश मंत्री, नैंसी फेजर को गृह मंत्री और क्रिस्‍टीने लाम्‍ब्रेट को रक्षा मंत्री बनाया गया है।